पहुना लॉज में पंखे से लटककर प्रेमी जोड़े ने लगा ली फांसी, दोनों शादीशुदा और बच्चे भी
नगर के पहुना लॉज में गुरुवार की सुबह 12 बजे उस वक्त सनसनी फैल गई जब कमरा नंबर पांच का दरवाजा खटखटाने के बाद भी नहीं खुला। वहां रुकने वाले को मोबाइल पर संपर्क किया गया लेकिन किसी ने फोन नहीं उठाया। लॉज के स्टाफ ने अनहोनी की आशंका को देखते हुए इसकी सूचना पुलिस को दी। डोंगरगढ़ पुलिस ने लॉज के मास्टर की से दरवाजा खोला तो अंदर युवक-युवती पंखे पर फंदा लगाकर फांसी पर झूल गए थे। दोनों की मौत हो चुकी थी। परिजनों को सूचना देकर बुलाया गया, देर शाम कमरा खोलकर दोनों का शव फंदे से उतारा गया।
प्रेमी युगल भिलाई खुर्सीपार के गौतम नगर निवासी मुकेश कुमार (36 वर्ष) और गंडई निवासी लक्ष्मी देवांगन ने बुधवार की देर शाम डोंगरगढ़ के पहुना लॉज में कमरा लिया। उन्होंने अपने आप को पति-पत्नी बताया और बाकायदा आधार कार्ड भी जमा करा दिया। गुरुवार दोपहर करीब 12 बजे तक कमरे में कोई हलचल नहीं हुई तो लॉज के स्टाफ ने दरवाजा खटखटाया। फोन किया लेकिन अंदर से जवाब नहीं आने पर पुलिस को सूचना दी गई। पुलिस के आने पर मास्टर की से दरवाजा खोला तो फांसी के फंदे पर दोनों लटके मिले।
प्रेमिका लक्ष्मी के दो बेटे व प्रेमी मुकेश का एक बेटा है
टीआई एलेक्जेंडर किरो ने बताया कि दोनों ने अपने आप को पति-पत्नी बताकर लॉज में कमरा लिया था। जबकि दोनों की शादी किसी दूसरे के साथ हुई है। लक्ष्मी के दो बेटे हैं। वहीं मुकेश का एक बेटा भी है। प्रेम प्रसंग के बाद मिलना-जुलना जब नहीं हो पा रहा था, तब इन्होंने यह कदम उठा लिया।
शादी के बाद भी मेलजोल
पुलिस की मानें तो यह मामला प्रेम प्रसंग का है। पुलिस ने बताया कि गंडई निवासी लक्ष्मी देवांगन का विवाह भिलाई खुर्सीपार में हुआ था। वहां पति बढ़ई का काम करता है। जबकि मुकेश देवांगन खुर्सीपार में इसी काम की वजह से लक्ष्मी के पति के संपर्क में था। दोनों की मुलाकात कुछ साल पहले हुई थी। दोनों में अफेयर की जानकारी जब परिजन को हुई तो लक्ष्मी को गंडई भेज दिया गया था। वह पांच दिनों से गंडई में ही थी। उसके बाद पुलिस की ओर से आज इसकी सूचना दी गई कि लॉज में उसकी लाश मिली है।
आईडी देखकर दी सूचना
टीआई ने बताया कि इनके आधार कार्ड पर लिखे पते के अनुसार पहले तो खुर्सीपार थाने से संपर्क किया गया। इसके बाद इस घटना की सूचना उनके परिजन को दी गई। लक्ष्मी के आधार कार्ड में भी पता भिलाई का ही था, लेकिन वह कुछ दिनों से गंडई में रह रही थी। परिजनों को बुलाकर पहचान कराने के बाद शव को फंदे से उतारा गया। शुक्रवार को पीएम कराकर शव परिजन को सौंप दिया जाएगा।