कोरबा : सामाजिक बहिष्कार, मानव तस्करी व टोनही प्रताड़ना के मामले में कमी के लिए जन जागरूकता जरूरी – नीलम चंद सांखला
छत्तीसगढ़ मानव अधिकार आयोग के सदस्य सांखला ने बैठक में मानव अधिकार संबंधी प्रकरणों की समीक्षा की
मानव अधिकार आयोग की टीम ने जिला अस्पताल, जिला जेल, स्कूल एवं वृद्धाश्रम का भी किया निरीक्षण
कोरबा छत्तीसगढ़ मानव अधिकार आयोग के सदस्य नीलम चंद सांखला ने कलेक्ट्रेट सभा कक्ष में आज कलेक्टर संजीव झा और एसपी संतोष सिंह की मौजूदगी में मानव अधिकार संबंधी प्रकरणों को लेकर समीक्षा बैठक की। बैठक में सदस्य आयोग ने मानव अधिकार संबंधी प्रकरणों की समीक्षा करते हुए सदस्यों ने टोनही प्रताड़ना की समस्या और इसके निवारण को लेकर चर्चा की। सदस्य नीलम चंद सांखला ने पिछले 5 वर्ष के दौरान टोनही प्रताड़ना संबंधी शिकायतों प्रकरणों के निराकरण व इसके निवारण की दिशा में किए गए प्रयासों की जानकारी ली। उन्होंने सामाजिक बहिष्कार से जुड़े प्रकरणों पर चर्चा की और ऐसे मामलों में कमी लाने के लिए कानूनी पक्ष का ध्यान रखते हुए विशेष रुप से जन जागरूकता के लिए भी प्रयासों पर जोर दिया। इसके लिए विभिन्न विभागीय बैठकों में चर्चा के साथ ही, सार्वजनिक आयोजनों के दौरान नुक्कड़ नाटक और अन्य माध्यमों से लोगों को जागरूक करने कहा। समाज प्रमुखों से भी चर्चा का सुझाव दिया। उन्होंने कहा कि मानव तस्करी सामाजिक बहिष्कार और टोनही प्रताड़ना के प्रकरण में कमी जन जागरूकता से ही संभव है। इसके लिए समाज में व्यापक स्तर पर जन जागरूकता के प्रयास किए जाएं। आयोग ने कोरबा जिले में मानव अधिकारों से संबंधित प्रकरणों की समीक्षा की। जिसमे मानव अधिकार से संबंधित 16 में से 13 प्रकरण निराकृत की जानकारी दी गई। वही लंबित 3 प्रकरणों के संबंध में जानकारी व रिपोर्ट आयोग को प्रस्तुत करने के निर्देश दिए। बैठक में विगत 6 माह के दौरान लंबित जीपीएफ और पेंशन संबंधी प्रकरणों की भी जानकारी ली और निराकरण के निर्देश दिए। इसी तरह वरिष्ठ नागरिकों की शिकायतों से जुड़े मामलों की भी जानकारी ली। इस दौरान छत्तीसगढ़ मानव अधिकार आयोग की टीम ने मेडिकल कॉलेज संबद्ध जिला अस्पताल, जिला जेल, शासकीय पूर्व माध्यमिक स्कूल रिसदी और सर्वमंगला स्थित वृद्धाश्रम का औचक निरीक्षण किया। इस बैठक में छत्तीसगढ़ राज्य मानव अधिकार आयोग के उप-सचिव श्याम कुमार साहू, संयुक्त संचालक मनीष कुमार , लेखा अधिकारी कुटेश्वर चंद्रा, निरीक्षक द्वय वी चौहान और माया शर्मा, जिला प्रशासन की ओर से अपर कलेक्टर विजेंद्र पाटले, संयुक्त कलेक्टर शिव बैनर्जी एवं एसडीएम कोरबा सीमा पात्रे सहित अन्य अधिकारी भी मौजूद रहे।
जिला चिकित्सालय का निरीक्षण कर व्यवस्थाएं देखी – राज्य मानवाधिकार आयोग के सदस्य नीलम चंद सांखला ने टीम के साथ मेडिकल कॉलेज से संबद्ध जिला चिकित्सालय का निरीक्षण किया। उन्होंने अस्पताल में मरीजों के पंजीयन काउंटर ,प्रसूति कक्ष, मेडिकल स्टोर रूम, सोनोग्राफी कक्ष, पैथोलॉजी कक्ष, ऑपरेशन थिएटर कक्ष, महिला व पुरुष वार्ड, ब्लड बैंक का अवलोकन किया और सभी व्यवस्थाएं दुरुस्त रखने के निर्देश दिए। राज्य मानवाधिकार आयोग के सदस्यों ने अस्पताल में भर्ती मरीजों का भी हालचाल जाना।
जिला जेल का निरीक्षण कर दिए आवश्यक दिशा निर्देश – छत्तीसगढ़ मानव अधिकार आयोग की टीम ने जिला जेल कोरबा का निरीक्षण किया। उन्होंने जिला जेल में निरुद्ध पुरुष व महिला बंदियों के संबंध में जानकारी ली और बंदियों से चर्चा कर जेल में उपलब्ध व्यवस्थाओं को लेकर जानकारी ली। यहां बंदियों को रखने के लिए बने बैरकों का अवलोकन किया। भोजन कक्ष, गौशाला, दवाखाना का भी निरीक्षण कर आवश्यक दिशा निर्देश दिए। बंदियों को नियमों के तहत सुविधाएं उपलब्ध कराने के निर्देश दिए।
स्कूल पहुंचकर मध्यान्ह भोजन की जानकारी ली, वृद्धाश्रम में बुजुर्गाे का जाना हाल चाल – राज्य मानव अधिकार आयोग ने शासकीय पूर्व माध्यमिक विद्यालय रिसदी पहुंचकर छात्र छात्राओं के लिए मध्यान्ह भोजन के संबंध में जानकारी ली। आयोग ने स्कूल में पेयजल व्यवस्था को लेकर भी स्कूल के शिक्षकों से बात की और व्यवस्थाओं को दुरुस्त रखने निर्देश दिए। आयोग के सदस्य नीलम चंद सांखला ने कक्षा में पढ़ाई कर रहे बच्चों से भी चर्चा की। आयोग की टीम ने उसके पश्चात सर्वमंगला स्थित वृद्धाश्रम का निरीक्षण किया। आयोग के सदस्य सांखला ने बुजुर्गों का हालचाल जाना और उनके अच्छे स्वास्थ्य की कामना की।