छत्तीसगढ़

CG : भ्रष्ट कर्मचारी को नौकरी से बहाल करना गलत, हाईकोर्ट ने किया बहाली आदेश को निरस्त

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छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट की डिवीजन बेंच ने अपने एक महत्वपूर्ण फैसले में कहा है कि विभागीय जांच अगर सही नहीं है तो फिर से जांच के लिए फाइल लौटाने पर दोषी कर्मचारी को बहाल नहीं किया जा सकता। डिवीजन बेंच ने राजनांदगांव जिले के छुरिया नगर पालिका परिषद के कर्मचारी को बहाल करने सिंगल बेंच के आदेश को निरस्त कर दिया है। साथ ही नगर पालिका के CMO को छह सप्ताह के भीतर विभागीय जांच पूरी करने का आदेश भी दिया है। दरअसल, नगर पालिका परिषद में पदस्थ लेखापाल भूपेश गंधर्व ने साल 2013-14 में झारखंड बाढ़ आपदा राहत कोष की राशि में हेराफेरी की थी। आरोप है कि उसने राहत कोष के पैसे का गबन कर लिया। इस मामले की जांच कराई गई, जिसमें उसे दोषी पाया गया। जिसके बाद उसे नगर पालिका की सेवा से बर्खास्त कर दिया गया।

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इस केस की सुनवाई करते हुए चीफ जस्टिस रमेश कुमार सिन्हा और जस्टिस अरविंद कुमार वर्मा की डिवीजन बेंच ने नगर पालिका के तर्कों पर सहमति जताई। डिवीजन बेंच ने कहा कि अगर सिंगल बेंच को लगा कि याचिकाकर्ता को सुनवाई का अवसर नहीं दया गया है तो सुप्रीम कोर्ट के आदेश के तहत उसे फिर से जांच के लिए भेजा जा सकता है। लेकिन, नौकरी से बहाल करना गलत है। हाईकोर्ट ने सिंगल बेंच के कर्मचारी की बहाली आदेश को निरस्त कर दिया है। साथ ही नगर पालिका परिषद को छह सप्ताह के भीतर विभागीय जांच पूर्ण करने का आदेश दिया है।

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